बाढ़ अनुमंडल के सातों प्रखंडों में सरकारी स्कूलों में चलने वाले एमडीएम योजना के लिए सरकार ने नई नीति के तहत जो वेंडर के माध्यम से विद्यालय प्रबंधन को नमक, तेल, जलावन तक की व्यवस्था कराने का जो निर्णय लिया है, यह निर्णय विद्यालय व्यवस्था को और भी ध्वस्त करने का काम कर रहा है। हालात यह है कि प्रखंड के कई ऐसे शिक्षक हैं जिन्होंने अपनी पत्नी या परिजन के नाम पर वेंडर कोड ले रखा है और विद्यालय की शैक्षणिक व्यवस्था को दरकिनार करते हुए इन दिनों व्यापारी की तरह एक स्कूल से दूसरे स्कूल सामान वितरण करते नजर आ रहे हैं।

शिक्षक के द्वारा विद्यालय में एक फर्जी आवेदन पहले से लिख कर रख दी जाती है, जिसमें आकस्मिक अवकाश लिखा हुआ रहता है। अगले दिन पहला आवेदन फाड़ कर दूसरा आवेदन फिर से लगा दिया जाता है और अपने खाली उपस्थिति पंजी में हस्ताक्षर भर दी जाती है। यह खेल लगातार जारी है, लेकिन प्रखंड शिक्षा प्रसार पदाधिकारी के द्वारा इस पर प्रतिबंध नहीं लगाया जा रहा है। नतीजतन प्रखंड के कई विद्यालयों में शैक्षणिक व्यवस्था चरमरा गई है। शिक्षक खुद वाहन चलाकर वेंडर का सामान पहुंचाने का काम करते नजर आ रहे हैं और अनुमंडल प्रशासन इस लापरवाही के प्रति संवेदनशील नहीं है।

By LNB-9

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